Tuesday, July 29, 2025
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    राजस्थान के चूरू में वायुसेना का फाइटर जेट क्रैश

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    राजस्थान के चूरू में वायुसेना का फाइटर जेट क्रैश

    राजस्थान के चूरू जिले में एक बड़ा विमान हादसा हुआ है। भारतीय वायुसेना का एक फाइटर जेट आज दुर्घटनाग्रस्त हो गया। यह भारतीय वायुसेना (Outbound Link) के लिए एक गंभीर घटना है। हालांकि, इस हादसे में एक बड़ी राहत की खबर है। विमान में सवार दोनों पायलट पूरी तरह सुरक्षित हैं। उन्होंने समय पर विमान से इजेक्ट कर लिया था।

    यह विमान हादसा चूरू के पास एक खुले मैदान में हुआ। लड़ाकू विमान आबादी वाले इलाके से दूर गिरा। इस कारण, जमीन पर किसी भी तरह के जान-माल का नुकसान नहीं हुआ। यह घटना वायुसेना के नियमित प्रशिक्षण मिशन का हिस्सा थी। हादसे की खबर मिलते ही स्थानीय प्रशासन हरकत में आ गया।

    तकनीकी खराबी बनी हादसे का कारण

    शुरुआती रिपोर्ट्स के मुताबिक, हादसे की वजह तकनीकी खराबी बताई जा रही है। पायलटों ने उड़ान के दौरान विमान में गड़बड़ी महसूस की। इसके बाद, उन्होंने विमान से बाहर निकलने का फैसला किया। उनकी सूझबूझ ने उनकी जान बचा ली।

    इसके अलावा, भारतीय वायुसेना ने इस घटना की पुष्टि कर दी है। वायुसेना ने मामले की जांच के लिए कोर्ट ऑफ इंक्वायरी का आदेश दिया है। यह जांच समिति हादसे के असल कारणों का पता लगाएगी। अंततः, जांच रिपोर्ट के बाद ही स्थिति पूरी तरह साफ होगी।

    फाइटर जेट क्रैश

    प्रत्यक्षदर्शियों ने क्या देखा?

    स्थानीय लोगों के अनुसार, उन्होंने आसमान में तेज धमाके की आवाज सुनी। कुछ लोगों ने विमान को आग के गोले में बदलते देखा। इसके तुरंत बाद, उन्होंने दो पैराशूट हवा में देखे। लोगों ने ही प्रशासन को इस विमान दुर्घटना की सूचना दी।

    घटनास्थल पर पुलिस और वायुसेना के अधिकारी पहुंच गए हैं। उन्होंने पूरे इलाके को घेर लिया है। मलबे को इकट्ठा करने का काम शुरू कर दिया गया है। अधिक जानकारी के लिए, आप राजस्थान की अन्य खबरें (Internal Link) पढ़ सकते हैं।

    बड़ा हादसा टला, आबादी से दूर गिरा विमान

    यह एक बड़ी गनीमत की बात है कि विमान आबादी पर नहीं गिरा। पायलटों ने अंतिम समय तक विमान को रिहायशी इलाके से दूर रखने की कोशिश की। यदि यह विमान किसी गांव या शहर पर गिरता, तो एक बड़ी त्रासदी हो सकती थी।

    लेकिन वास्तव में, पायलटों के प्रयास सफल रहे। इस घटना ने एक बार फिर वायुसेना के पायलटों के उच्च स्तरीय प्रशिक्षण को दिखाया है। वे मुश्किल हालात में भी शांत रहकर सही फैसला लेते हैं।

    फिलहाल, वायुसेना का पूरा ध्यान जांच प्रक्रिया पर है। इस तरह के हादसों से भविष्य के लिए सबक लिए जाते हैं। लड़ाकू विमानों के रखरखाव और सुरक्षा प्रोटोकॉल की समीक्षा की जाएगी।

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