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**इंदौर:** मध्य प्रदेश के इंदौर में प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी कर रही छात्रा सोनम रघुवंशी की मौत का मामला लगातार गहराता जा रहा है। पुलिस जहां इसे शुरुआती तौर पर आत्महत्या मानकर जांच कर रही है, वहीं परिवार ने इसे एक सोची-समझी हत्या करार दिया है।
सोनम के पिता ने अपनी बेटी को निर्दोष बताते हुए पूरे मामले की CBI से जांच कराने की पुरजोर मांग की है। उनका दावा है कि उनकी बेटी इतनी कमजोर नहीं थी कि वह आत्महत्या जैसा कदम उठाए। इस मांग ने मामले में एक नया मोड़ ला दिया है और पुलिस की कार्यप्रणाली पर भी गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं।
“यह आत्महत्या नहीं, हत्या है” – पिता का दर्द और गंभीर आरोप
विदिशा के गंजबासौदा के रहने वाले सोनम के पिता ने मीडिया से बात करते हुए अपनी पीड़ा व्यक्त की। उन्होंने भारी मन से कहा, “सोनम रघुवंशी एक फाइटर थी, वह आत्महत्या नहीं कर सकती। यह साफ तौर पर हत्या का मामला है, जिसे आत्महत्या का रूप देने की कोशिश की जा रही है।”
परिवार का आरोप है कि सोनम को किसी तरह से प्रताड़ित या ब्लैकमेल किया जा रहा था, जिसकी वजह से उसकी जान गई। पिता ने कहा कि उनकी बेटी के बड़े सपने थे और वह डिप्टी कलेक्टर बनना चाहती थी। ऐसे में उसका इस तरह दुनिया से चले जाना किसी के गले नहीं उतर रहा है।
इसके अलावा, परिवार ने पुलिस की शुरुआती जांच पर भी असंतोष जताया है। उनका मानना है कि मामले के अहम सुरागों को नजरअंदाज किया जा रहा है। इसी वजह से वे अब केंद्रीय जांच ब्यूरो (CBI) से निष्पक्ष जांच की उम्मीद कर रहे हैं।
CBI जांच की मांग क्यों? पुलिस की कार्रवाई पर उठे सवाल
परिवार द्वारा CBI जांच की मांग करना यह दर्शाता है कि उनका स्थानीय पुलिस की जांच पर से भरोसा उठ चुका है। आमतौर पर ऐसे मामलों में परिवार को लगता है कि स्थानीय स्तर पर जांच को प्रभावित किया जा सकता है या सबूतों के साथ छेड़छाड़ हो सकती है।
CBI एक केंद्रीय एजेंसी है, जिससे निष्पक्ष और गहन जांच की उम्मीद की जाती है। सोनम के पिता का मानना है कि केवल CBI ही इस मामले की तह तक जाकर सच्चाई को सामने ला सकती है। उन्होंने कहा कि उन्हें पूरा यकीन है कि अगर सही दिशा में जांच हुई, तो यह आत्महत्या नहीं, बल्कि हत्या का मामला साबित होगा।
इस मांग के बाद अब मध्य प्रदेश सरकार और पुलिस प्रशासन पर दबाव बढ़ गया है। सोशल मीडिया पर भी #JusticeForSonam जैसे हैशटैग के साथ न्याय की मांग उठने लगी है।
कौन थी सोनम रघुवंशी? सपनों और हकीकत की कहानी
सोनम रघुवंशी मध्य प्रदेश के विदिशा जिले के एक छोटे से शहर गंजबासौदा की रहने वाली एक होनहार छात्रा थी। वह अपने सपनों को साकार करने के लिए इंदौर में रहकर लोक सेवा आयोग (PSC) की तैयारी कर रही थी।
उसके जानने वाले बताते हैं कि वह एक जिंदादिल और महत्वाकांक्षी लड़की थी। उसका लक्ष्य प्रशासनिक सेवा में जाकर समाज की सेवा करना था। हालांकि, इंदौर में उसकी रहस्यमयी मौत ने उसके सपनों के साथ-साथ परिवार की खुशियों को भी हमेशा के लिए खत्म कर दिया। यह घटना उन हजारों छात्रों के संघर्ष और सुरक्षा पर भी सवाल उठाती है जो अपने घरों से दूर रहकर बड़े शहरों में पढ़ाई करते हैं।
मामले की मौजूदा स्थिति और आगे की राह
फिलहाल, इंदौर पुलिस इस मामले को अप्राकृतिक मौत के एंगल से देख रही है। पुलिस सोनम के मोबाइल फोन, कॉल रिकॉर्ड्स और सोशल मीडिया अकाउंट्स की जांच कर रही है। साथ ही, उसके दोस्तों और करीबियों से भी पूछताछ की जा रही है ताकि मौत के कारणों का पता चल सके।
पुलिस का कहना है कि पोस्टमार्टम रिपोर्ट और अन्य फोरेंसिक सबूतों का इंतजार किया जा रहा है, जिसके बाद ही किसी ठोस नतीजे पर पहुंचा जा सकेगा।
हालांकि, परिवार के गंभीर आरोपों और CBI जांच की मांग के बाद यह मामला अब और भी संवेदनशील हो गया है। अब देखना यह होगा कि क्या राज्य सरकार परिवार की मांग को स्वीकार करती है। या स्थानीय पुलिस ही किसी नए सबूत के साथ मामले की गुत्थी सुलझा पाती है। इस मामले का हर पहलू अब गहन जांच की मांग कर रहा है।